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कभी सोचा है गूगल का लोगो रंगबिरंगी क्यों है ?

गूगल का लोगो

हम सभी की जिन्दगी में गूगल (सर्च इंजन) क्यों महत्व रखता है ?

शायद इसका जवाब बताने की आवश्यकता नहीं है क्योंकि गूगल हर उम्र के लोगों के लिए जानकारी हासिल करने का तेज माध्यम है। जिसके यूआरएल या सर्च बॉक्स में आप कुछ भी टाइप कीजिए तो उससे मिलता-जुलता सुझाव गूगल आपको बता ही देगा। हालांकि आपको प्रश्न पूछना आता हो !

यह बात हुई गूगल (सर्च इंजन) की सेवाओं के बारे में, लेकिन क्या आप यह जानते हैं कि गूगल का लोगो रंगबिरंगी क्यों है. उसके पीछे क्या लॉजिक है।

कहने से मतलब गूगल के रंगबिरंगे लोगो के बारे में है तो क्या आप गूगल के लोगो के उन पीले, नीले, लाल व हरे रंग के पीछे छिपा रहस्य जानते हैं !

जैसा कि आपने देखा ही होगा कि गूगल में आप कुछ भी सर्च के लिए खोजे, तो आप को वे मिल ही जाएगा।

तो इससे आप गूगल की रचनात्मकता का अंदाजा लगा सकते हैं। गूगल की इस रचनात्कमता के कारण ही गूगल का लोगो रंगबिरंगा रखा गया है । गूगल का लोगो रंगबिरंगे होने के पीछे प्राचीन कारण भी है जिसे आप पारंपरिक उत्तर के अनरूप भी देख सकते हैं. वह यह कि गूगल के सर्वर को जब पहली बार ईंटों से बनाया गया था तो वो रंगबिरंगा था फिर इस वजह से भी गूगल का लोगो रंग बिरंगा है।

यदि आपने ध्यान से सोचा हो तो गूगल वेब वर्जन है मतलब इसे इलेक्ट्रॉनिक के माध्यम से देखा जाता है।  और वेब में आमतौर पर रंगों का प्रयोग RGB के सिद्धांत पर रखा गया है।  जिसमें गूगल के रंग, आपके कंप्यूटर स्क्रीन को शेष रंगों में विभाजित करते हैं।

इन तर्कों के अलावा कंपनी ने गूगल के हर वर्ण (लेटर) के रंगों के बारे में समझाते हुये बताया कि पहले 1, 2, 3 और 4 रंगों को प्राइम के हिसाब से नीला, लाल, पीला और हरा दिया है।  बाकि के अक्षरों को कम्पोजिट नंबर होने के कारण अलग रंग दिया है।

इस आधार पर आप यह समझ पाएंगे कि गूगल का लोगो को सिर्फ ऐसे ही रंबिरंगी नहीं रखा है बल्कि उसके पीछे कई तथ्य हैं जिन्हें ऊपर बताए बिन्दुओं से आप समझ सकते हैं।