4) दौलत का लालच
एक तरफ आई एस आई एस लोगों को अगवा कर फिरौती में या गैर-क़ानूनी ढंग से तेल बेच पैसे कमा रहा है तो वहीं अमरीका की सोच भी किसी भी हालत में पैसे बटोरने की ही है| इराक़ युध के बारे में किसे नही पता कि वो सिर्फ़ तेल के कुओं पर अधिकार जमाने के लिए ही किया गया था!
आख़िर में बात साफ़ है कि अगर अमरीका आई एस आई एस को आतंकवादी संघठन मानता है तो फिर उसे अपने पहलू में भी झाँक कर देखना होगा! सिर्फ़ अपने देश के लोगों के बारे में नही, सारी दुनिया के बारे में सोचना होगा अगर वो चाहता है की उसका अव्वल दर्जा बना रहे!