अब जमाना ऑनलाइन का हो गया है।
पहले तो हम सिर्फ सोशल मीडिया के तौर पर ही ऑनलाइन प्लेटफ़ोर्म का यूज़ करते थे, लेकिन अब लगभग सभी ऑफिसियल काम ऑनलाइन हो गए है। जिसने हमारी लाइफ को आसान तो बनाया ही है। साथ ही कई मुश्किलें भी खड़ी की है। जैसे कि कंप्यूटर वायरस पहले तो सिर्फ हमारी फाइल्स और सॉफ्टवेर को ख़राब करते थे लेकिन आजकल ऑनलाइन ठगी करने में इन वायरस का इस्तेमाल किया जा रहा है।
फिरौती मांगनेवाला वायरस –
जानिये कैसे फँसाया जाता है लोगो को-
हम सभी लोग अपने कंप्यूटर में तस्वीरें डाउनलोड करते हैं लेकिन ज़रा सोचिए कभी ऐसा हो कि आपके कंप्यूटर पर ऐसी तस्वीर दिखे जिसे आपने डाउनलोड ही नहीं की हो। अगर ऐसा हो तो संभल जाइये! ये ख़तरे की घंटी हो सकती है। डिजिटल ट्रेन्डस के मुताबिक़ ऐसे अनजान फ़ाइल को भूलकर भी न खोलें। ये ‘लॉकी रैंसमवेयर’ हो सकता है, जो फिरौती मांगनेवाला वायरस है – आजकल स्मार्टफ़ोन, टैबलेट या कंप्यूटर पर तेज़ी से फैल रहा है।
इसको खोलते ही आपका कंप्यूटर का डाटा लॉक हो जाएगा और फिर उसे फिर से खुलवाने के लिए आपसे फ़िरौती की मांग होगी।
फिरौती मांगनेवाला वायरस – ऐसे की जाती है फिरौती की मांग-
ऐसा पहले भी होता आया है लेकिन इससे पहले ऐसे मालवेयर सिर्फ़ वर्ड फ़ाइल के ज़रिए आते थे, इसे ‘मैलिशियस मैकरो’ के नाम से जाना जाता था। इसरायली सुरक्षा कंपनी के चेक प्वाइंट ने पाया कि कई सोशल मीडिया के ज़रिए ‘लॉकी रैंसमवेयर’ फैलाया जा रहा है। इसके लिए फ़ेसबुक का इस्तेमाल सबसे ज़्यादा हो रहा है। अगर आप ऐसी तस्वीरों को खोलने की कोशिश करते हैं तो ये खुलने के बजाए ऐसी फ़ाइल डाउनलोड होनी शुरु हो जाती है। इससे लॉकी कोड चालू हो जाता है और आपके कंप्यूटर की कई फ़ाइल लॉक हो जाती हैं। इसके बाद शुरु होता है फ़िरौती मांगने का सिलसिला।
ये है ऑनलाइन पैसे ऐंठने का नया तरीका-
कुछ उचक्कों ने ऑनलाइन दुनिया से पैसे ऐंठने के नए तरीक़े खोज लिए हैं। ये लोग तस्वीरों में कुछ विशेष कोड लगा देते हैं और सोशल मीडिया पर पोस्ट कर देते हैं। इसके बाद ये बड़ी चालाकी से तस्वीरें डाउनलोड करने को मजबूर करते हैं। फिर ‘लॉकी रैंसमवेयर’ चालू हो जाता है और हैकर आपसे कुछ फ़िरौती मांगता है। फ़िरौती देने का तरीक़ा ऑनलाइन होता है। आमतौर पर फ़िरौती देने पर हैकर आपको डाटा वापस कर देता है। फिर भी ये ज़रूरी नहीं कि हर बार आपका डाटा आपको वापस मिल ही जाए। फ़ाइल लॉक होने के बाद आपको हैकर के रहम-ओ-करम पर निर्भर रहना पड़ता है।
सोशल मिडिया के यूजर रहे सावधान-
ये लोग तस्वीरों में कुछ विशेष कोड लगा देते हैं और सोशल मीडिया पर पोस्ट कर देते हैं। इसके बाद ये बड़ी चालाकी से तस्वीरें डाउनलोड करने को मजबूर करते हैं। खासकर फेसबुक यूजर इस बात का ध्यान रखे की जब किसी इमेज को देखने के लिए उस पर क्लिक करने पर वो फाइल को सीधे ही डाउनलोड कर रही है तो सावधान हो जाइये ये वायरस हो सकता है।
इससे बचने के लिए उस फाइल को तुरंत डाउनलोड होने से रोक दिजिए।
ब्लेकमेलिंग का शिकार भी हो सकते है-
वही सुरक्षा एजेंसियों ने इंटरनेट उपभोक्ताओं के लिए सिफ़ारिश की है कि अगर आप ने ग़लती से ऐसी फ़ाइल पर क्लिक किया है तो इसे क़तई न खोलें। ऐसा करना बेहद ख़तरनाक हो सकता है। ये आपकी निजता पर एक बड़ा हमला है। हैकर आपकी निजी तस्वीरें और वीडियो ग़लत तरीक़े से हासिल कर सकता है और फिर आपको ब्लैकमेल भी किया जा सकता है।
ये है फिरौती मांगनेवाला वायरस – जैसे-जैसे लोगो की ऑनलाइन उपलब्धता बढ़ती जा रही है, वैसे ही ऑनलाइन चोरों का काफिला भी बढ़ता जा रहा है। इसलिए बेहतर है कि ऐसी चीज़ों से सतर्क रहें, न ख़ुद इसका शिकार बने और न ही किसी को बनने दें।