शनिदेव की पूजा – नौ ग्रहों में दंडाधिकारी और इंसान के कर्मों के अनुसार फल देनेवाले कर्मफल दाता शनिदेव का नाम सुनते ही अक्सर लोग घबरा जाते हैं. शनिदेव को प्रसन्न करने के लिए लोग हर शनिवार को तेल चढ़ाकर शनिदेव की पूजा करते हैं ताकि शनिदेव की कृपा सदैव उनपर बनी रहे.
हालांकि विधि-विधान से अगर शनिदेव की पूजा की जाए तो इंसान की हर मनोकामना पूरी हो सकती है.
तो चलिए खास आपके लिए हम लेकर आए हैं शनिदेव के 108 नाम जिनसे उनकी स्तुति करने से जल्द ही आप उनकी विशेष कृपा प्राप्त कर सकते हैं.
शनिदेव की पूजा – शनिदेव के ये 108 नाम बनाएंगे बिगड़े काम
1- शनैश्चर, 2-शांत, 3- सर्वाभीष्टप्रदायिन्, 4- शरण्य, 5- वरेण्य, 6- सर्वेश, 7- सौम्य, 8- सुरवन्द्य, 9- सुरलोकविहारिण्, 10- सुखासनोपविष्ट, 11- सुंदर, 12- घन, 13- घनरुप, 14- घनाभरणधारिण्, 15- घनसारविलेप, 16- खद्योत, 17- मंद, 18- मन्दचेष्ट, 19- महनीयगुणात्मन्, 20- मर्त्यपावनपद.
21- महेश, 22- छायापुत्र, 23- शर्व, 24- शततूणीरधारिण्, 25- चरस्थिरस्वभाव, 26- अचञ्चल, 27- नीलवर्ण, 28- नित्य, 29- नीलाञ्जननिभ, 30- नीलाम्बरविभूशण, 31- निश्चल, 32- वेद्य, 33- विधिरूप, 34- विरोधाधारभूमी, 35- भेदास्पदस्वभाव, 36- वज्रदेह, 37- वैराग्यद, 38- वीर, 39- वीतरोगभय, 40- विपत्परम्परेश.
41- विश्ववन्द्य, 42- गृध्नवाह, 43- गूढ, 44- कूर्माङ्ग, 45- कुरूपिण्, 46- कुत्सित, 47- गुणाढ्य, 48- गोचर, 49- अविद्यामूलनाश, 50- विद्याविद्यास्वरूपिण्, 51- आयुष्यकारण, 52- आपदुद्धर्त्र, 53- विष्णुभक्त, 54- वशिन्, 55- विविधागमवेदिन्, 56- विधिस्तुत्य, 57- वन्द्य, 58- विरूपाक्ष, 59- वरिष्ठ, 60-. गरिष्ठ.
61- वज्राङ्कुशधर, 62- वरदाभयहस्त, 63- वामन, 64- ज्येष्ठापत्नीसमेत, 65- श्रेष्ठ, 66- मितभाषिण्, 67- कष्टौघनाशकर्त्र, 68- पुष्टिद, 69- स्तुत्य, 70- स्तोत्रगम्य, 71- भक्तिवश्य, 72- भानु, 73- भानुपुत्र, 74- भव्य, 75- पावन, 76- धनुर्मण्डलसंस्था, 77- धनदा, 78- धनुष्मत्, 79- तनुप्रकाशदेह, 80- तामस.
81- अशेषजनवन्द्य, 82- विशेषफलदायिन्, 83- वशीकृतजनेश, 84- पशूनां, 85- खेचर, 86- घननीलाम्बर, 87- काठिन्यमानस, 88- आर्यगणस्तुत्य, 89- नीलच्छत्र, 90- नित्य, 91- निर्गुण, 92- गुणात्मन्, 93- निन्द्य, 94- वन्दनीय, 95- धीर, 96- दिव्यदेह, 97- दीनार्तिहरण, 98- दैन्यनाशकराय, 99- आर्यजनगण्य, 100- क्रूर, 101- क्रूरचेष्ट, 102- कामक्रोधकर, 103- कलत्रपुत्रशत्रुत्वकारण, 104- परिपोषितभक्त, 105- परभीतिहर, 106-भक्तसंघमनोभीष्टफलद, 107-निरामय, 108- शनि.
इन 108 नामों से शनिदेव की पूजा करने से सारे कष्ट मिट जाते है – इंसान अपने जीवन में जैसे कर्म करता है उसे वैसा ही फल मिलता है. लेकिन अगर आप शनि ग्रह की पीड़ा से परेशान हैं तो शनिदेव के इन 108 नामों से शनिदेव की पूजा कीजिए. यकीनन इन नामों से शनिदेव आपपर शीघ्र ही प्रसन्न होंगे और आपपर अपनी कृपा दृष्टि बनाए रखेंगे.
इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) दुनिया में सबसे लोकप्रिय टी20 क्रिकेट लीग में से एक है,…
दुनिया मे सबसे ताकतवर चीज है हमारी सोच ! हम अपनी लाइफ में जैसा सोचते…
सूर्य ग्रहण 2020- सूर्य ग्रहण कब है, सूर्य ग्रहण कब लगेगा, आज सूर्य ग्रहण कितने…
कोरोना महामारी के कारण देश के देश बर्बाद हो रही हैं, इंडस्ट्रीज ठप पड़ी हुई…
दुनियाभर के 200 देश आज कोरोना संकट से जूंझ रहे हैं, इस बिमारी का असर…
वैसे तो गांधी परिवार पूरे विश्व मे प्रसिद्ध है और उस परिवार के हर सदस्य…