राफेल डील मामले में अब राजनीति अपने चरम पर है, आये दिन विपक्ष पार्टी के अध्यक्ष राहुल गांधी इस मामले को उछाल इसे लगातार राजनैतिक बवाल बनाने में लगे रहते है।
तो वहीं दूसरी तरफ इस मामले में पक्ष धारी सरकार भी पीछे नहीं है। जैसे-जैसे 2019 का सियासी समय करीब आ रहा है, विपक्ष हमलावर रूख अपनाते हुए लगातार राजनीतिक दाव खेल रहा है।
राफेल डील का बबाल –
राफेल डील बनी कांग्रेस बनाम बीजेपी
इलेक्शन 2019 को लेकर कांग्रेस बीजेपी सरकार को चारों ओर से घेरने के प्रयास में जुटी हुई है, यही वजह है कि कांग्रेस राफेल डील मामले में बीजेपी सरकार को देशभर में घेरने के प्रयास में जुटी हुई है। राहुल के संसद में राफेल डील पर सवाल उठाने के बाद से ही ये मुद्दा राजनीति में दिनों-दिनों एक नए बयान के तौर पर सामने आ रहा है। इस रविवार कांग्रेस सूबे के कुल 32 शहरों में एक समय पर एक साथ मीडिया कर्मियों से मुखातिब होकर राफेल रण का ऐलान करेगी।
राफेल डील जितने सवाल उतने बवाल
राफेल डील मामले पर राहुल गांधी ने लोकसभा में केन्द्र सरकार पर जमकर कर हमला किया। उसके उपरांत उन्होंने इस मामले में रक्षामंत्री निर्मला सीतारमण से भी कई सवाल किए। हालांकि रक्षामंत्री ने कांग्रेस अध्यक्ष के सभी सवालों के जवाब पूरे स्पष्टीकरण के साथ ही दिए, लेकिन फिर भी यह मुद्दा अब संसद से सड़कों पर उतर आया है। इस मुद्दे के संसद से सड़क तक आने के एक मात्र कारण है इलेक्शन 2019 में अपनी पकड़ बनाना।
राफेल डील : सड़क से संसद तक
बीते शनिवार को युवा काग्रेंस के जिलाध्यक्ष दर्शन कठामत ने अपने कार्यकर्ताओं के साथ राफेल घोटाले मामले में प्रदर्शन किया। उन्होंने विरोध में पोस्टर के साथ प्रदर्शन कर भाजपा सरकार की नाकामियों के नारे भी लगाये। उन्होंने इस मौके पर लोगों को भाजपा और एनडीएम सरकार के दौरान हुए राफेल डील की जानकारी देकर वर्तमान सरकार से कई सवाल किये।
इतना ही नहीं इस मुद्दे पर राहुल गांधी संसद में हमला करने के बाद सोशल मीडिया पर लगातार सरकार को घेरने में लगे हुए है। उन्होंने कई बार ट्वीट कर प्रधानमंत्री मोदी और केन्द्र सरकार दोनों पर हमला किया है। अब इस मुद्दे पर कांग्रेस का रूख बेहद आक्रमक हो गया है। इनका कहना है कि वह इस मुद्दे पर जल्द ही कई जिलों में प्रेस कॉंन्फ्रेंस करेंगे और लोगों को इसकी जानकारी भी देंगे। इस मामले पर कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने खुद एक टीन का गठन किया है, जोकि अलग अलग जिलों में जाकर प्रेस कॉंफ्रेंस करेंगी।
बतां दे रविवार को इसी मसले पर कांग्रेस की एक बैठक हुई, जिसके साथ कांग्रेस ने राफेल डील पर जनआंदोलन की शुरूआत की। इस बैठक के दौरान प्रेस कॉन्फ्रेंस के साथ-साथ धरना प्रदर्शन की बात भी कही गई। इस बैठक के बाद कांग्रेस पार्टी प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि “मोदी सरकार राफेल डील पर पर्दा डालने की कोशिश कर रही है… राफेल डील में भ्रष्टाचार हुआ है और चौकीदार खुद उसमें भागीदार है”।
बतां दे कि राफेल डील मामले में सिर्फ कांग्रेस सरकार ही नहीं बल्कि बीजेपी के वरिष्ठ नेताओं ने भी सवाल खड़े किए है, जिसमें पूर्व केन्द्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा और पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण शौरी का नाम भी शुमार है।
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