पंजाब का स्वर्ण मंदिर – इस दुनिया में एक से बढ़कर एक पर्यटक स्थल हैंं, जहां हमेशा लोग छुट्टियों में घूमने की तैयारी में लगे होते हैं. और घूमने के लिए खूबसूरत जगहों का चुनाव करते हैं.
छुट्टियां बितानी हो या हनिमून पर जाना हो तो उसके लिए अमेरिका, सिंगापुर, स्विट्ज़रलैंड, पेरिस, इंडिया की कई जगह हैं जैसे कश्मीर, दार्जिलिंग, गोवा, आगरा इत्यादि.
इन सबके बावजूद लेकिन क्या आप जानते हैं इंडिया का एक जगह ऐसा है जो दुनिया भर का सर्वाधिक देखा जाने वाला पर्यटक स्थल है.
जरा ध्यान से सोचेंगे तो आपको समझ में आ जाएगा कि इंडिया में वो कौन सी जगह है जो विश्व का सर्वाधिक देखे जाने वाला जगह है. वो जगह कोई और नहीं बल्कि वो पंजाब का स्वर्ण मंदिर है.
इस मंदिर का इतिहास जितना गौरवशाली है उतना ही गौरवशाली इसका वर्तमान भी है. स्वर्ण मंदिर के गौरव में चार चांद और तब लग गया जब इसे दुनिया का सर्वाधिक देखा जाने वाला पर्यटक स्थल के अवार्ड से सम्मानित किया गया.
जी हां दोस्तों स्वर्ण मंदिर को ‘वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकार्ड्स’ के द्वारा ये अवार्ड मिला है. ‘वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकार्ड्स’ लंदन की कंपनी है. ये कंपनी विश्वभर के रिकॉर्ड पर अपनी पैनी नजर बनाए रखती है.
कुछ दिनों पहले की बात है जब ‘वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकार्ड्स’ पंजाब के अध्यक्ष रणदीप सिंह कोहली और ‘वर्ल्ड बुक ऑफ रिकॉर्ड’ की भारतीय महासचिव सुरभि कॉल के हाथों मंदिर के वरिष्ठ अधिकारियों को प्रदान किया गया.
बता दें कि हर 3 महीने में ये अवार्ड दिया जाता है. स्वर्ण मंदिर को ये अवार्ड देने की खातिर ‘वर्ल्ड बुक ऑफ रिकॉर्ड’ की नजर पिछले कई महीनों से श्रद्धालुओं पर बनी हुई थी. विश्व भर के 8 सबसे अधिक पर्यटक स्थलों में वैष्णो देवी, माउंट आबू और शिर्डी के साईं बाबा का नाम भी शामिल है.
रिकॉर्ड के मुताबिक इस खूबसूरत गौरवशाली स्वर्ण मंदिर में प्रतिदिन लगभग 1 लाख लोगों का आना लगा रहता है. इन पर्यटक स्थलों के अलावा अमृतसर के दुर्गियाना मंदिर और बाघा बॉर्डर का नाम भी अवार्ड के लिए दिया जाने वाला है.
हरमंदिर साहिब के नाम से भी पंजाब का स्वर्ण मंदिर जाना जाता है. पंजाब का स्वर्ण मंदिर जो सिख धर्म का प्रमुख देवस्थान है जिसे देखने दुनिया भर से लाखों श्रद्धालु प्रतिदिन आते हैं. ना सिर्फ सिख धर्म के लोग बल्कि इस गौरवशाली मंदिर मे सभी धर्मों के लोग अपनी उपस्थिति दर्ज कराते हैं. मंदिर के मुख्य केंद्र बिंदु की बात करें तो वो है मंदिर पर सोने की परत का चढ़ा होना.
पंजाब के अमृतसर शहर में स्थापित स्वर्ण मंदिर की स्थापना 1574 ईस्वी में चौथे सिख गुरु रामदास जी के द्वारा किया गया था. पांचवें सिख गुरु अर्जुन जी के द्वारा इस मंदिर को डिजाइन कराया गया. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार स्वर्ण मंदिर के अंदर सिख धर्म के प्राचीन इतिहास की भी व्याख्या मिलती है.
गौरतलब है कि इस मंदिर की स्थापना के पीछे महिलाओं और पुरुषों के लिए एक ऐसी जगह का निर्माण करना था जिस जगह पर दोनों ही समान रूप से ईश्वर की आराधना कर पाए.
श्री हरमंदिर साहिब के नाम का मतलब ही है ‘भगवान का मंदिर’ जहां सभी धर्म के व्यक्ति ईश्वर की भक्ति बिना किसी भेदभाव के कर सकते हैं.