ये किस्सा 1990 का है, जब मालदीव की राजधानी माले में सार्क देशों के शिखर सम्मेंलन में भाग लेने के लिए पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ पहुंचे हुए थे.
इस सम्मेंलन में अपने भाषणमें नवाज शरीफ ने कई बार कश्मीर का जिक्र किया. जोश जोश में वे यहां तक कह गए कि कश्मीर के बिना पाकिस्तान अधूरा है ओर जब तक वह पाकिस्तान मेंनहीं मिलता तब तक वह चैन से नहीं बैठेगा. इस सम्मेंलन में भारत के अलावा बांग्लादेश, श्रीलंका, नेपाल, मालदीव और भूटान के प्रधानमंत्री भी मौजूद थे. जिसवक्त नवाज शरीफ कश्मीर को लेकर सार्क में चिल्ला रहे थे उस वक्त भारतीय प्रधानमंत्री खून के घूट पीकर चुपचाप उनकी पूरी बात सुन रहे थे.
भाषण खत्म होने के बाद प्रधानमंत्री नवाज शरीफ भारत के प्रधानमंत्री से शिष्टाचार भेंट करने के लिए उनके कमरे में मिलने पहुंचे. दोनों माले के एक होटल में ठहरे हुए थे. प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने बैठकर अभी हालचाल पूछना ही शुरू किया था कि भारतीय प्रधानमंत्री ने कश्मीर का जिक्र छेड़ दिया. और नवाज शरीफ से पूछा आप कह रहे थे कि आपको कश्मीर चाहिए वहां आपके बिरादरान रहते हैं उसके बिना आपका देश अधूरा है.
तो ले लो कश्मीर.. हम तैयार हैं पाकिस्तान को कश्मीर देने के लिए. लेकिन एक शर्त हैं? कश्मीर के साथ भारत में रह रहे 15 करोड़ मुसलमानों को भी ले जाओं क्योंकि हो सकता है कल के दिन आप उनके बिना भी अधूरा महसूस करे.
कश्मीर को लेकर पाक प्रधानमंत्री नवाज शरीफ को दो टूक जवाब देने वाले यह भारतीय प्रधानमंत्री कोई और नहीं, चंद्रशेखर थे.
बताया जाता है चद्रशेखर का उत्तर सुनकर प्रधानमंत्री नवाज शरीफ सन्न रह गए और बहुत देर तक कुछ बोल ही नहीं पाए. जब चंद्रशेखर ने पूछा नवाज मियां क्या सोच रहे हो? बात आगे बढ़ाएं. नवाज शरीफ खिसयाया सा मुंह लेकर कहने लगे नहीं नहीं मेरा वो मतलब नहीं था.
दरअसल, यह बात वर्ष 1990 की है. मालदीव की राजधानी माले में 21 से 23 नवंबर तक सार्क का पांचवा शिखर सम्मेंलन चल रहा था. पाकिस्तान की ओर नवंबर1990 में पहली बार प्रधानमंत्री चुने जाने के बाद नवाज शरीफ इस में भाग लेने के लिए पहुंचे थे तो तो वहीं भारत की ओर से भी 10 नवंबर को पहली बार प्रधानमंत्री बने चंद्रशेखर पहुंचे. उस वक्त कश्मीर में आतंकवाद की शुरूआत हो गई थी. कुछ समय पहले ही आतंकवादियों ने भारत के ग्रहमंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद की पुत्री रूबिया सईद का अपहरण कर लिया था. इस कारण भारत और पाकिस्तान में कश्मीर को लेकर तनाव अपने चरम पर था.
गौरतलब है कि दक्षिण एशियाई क्षेत्रीय सहयोग संगठन (सार्क) दक्षिण एशिया के आठ देशों का आर्थिक और राजनीतिक संगठन है. संगठन के सदस्य देशों की जनसंख्या को देखा जाए तो यह किसी भी क्षेत्रीय संगठन की तुलना में ज्यादा प्रभावशाली है. इसकी स्थापना 8 दिसम्बर 1985 को भारत, पाकिस्तान, बांग्लादेश,श्रीलंका, नेपाल, मालदीव और भूटान द्वारा मिलकर की गई थी. अप्रैल 2007 में संघ के 14 वें शिखर सम्मेलन में अफगानिस्तान इसका आठवा सदस्य बन गया.