गैंगस्टर होने के साथ साथ मस्तान ने अपने हाथ राजनीति और फिल्म फाइनेंस में भी आजमाए. पर दोनों ही जगह उसे आशातीत सफलता नहीं मिली .
दाऊद ने मस्तान के नीचे काम करते करते ही अपना वर्चस्व कायम करना शुरू किया और जब मस्तान उम्रदराज़ हो गया तो दाऊद ने मुंबई अपने हाथ में ले ली.
हाजी मस्तान की जिंदगी किसी फिल्म की स्क्रिप्ट से कम नहीं.
तमिलनाडु के छोटे से गाँव से बॉम्बे डॉक के कूली और कूली से मुंबई का राजा बनने का सफर किस्से कहानी से कम नहीं तभी तो हाजी मस्तान की जिंदगी से प्रेरित हो बॉलीवुड ने कई फ़िल्में बनायी है.
चाहे वो अमिताभ की दीवार हो या अजय देवगन की बहुचर्चित वन्स अपॉन अ टाइम इन मुंबई.