मुंबई के डांस बार एक बार फिर से शुरू होने वाले है.
सुनकर कुछ लोगों के चेहरे चमक गए होंगे और कुछ लोगों ने नाक सिकोड़ ली होगी.
डांस बार पर बैन लगना मुंबई की एक बहुत बड़ी घटना थी. बहुत से लोगों को मानना था कि डांस बार अपराध के अड्डे है तो वही बार बालाओं और कुछ अन्य लोगों का मानना था कि बार की वजह से हजारों लड़कियों को रोज़गार मिलता है और उनके परिवार का लालन पालन होता है.
लंबी जद्दोजहद के बाद मुंबई में डांस बार पर बैन लग गया. हजारों बार बालाएं बेरोजगार हो गयी. कुछ हार कर अपने गाँव लौट गयी और बहुत सी बार बालाओं को मज़बूरी में वेश्यावृत्ति के दलदल में आना पड़ा. बार बालाओं को कभी सम्मान की नज़र से देखा भी नहीं जाता था.
डांस बार के बंद होने से कभी दिन के हजारों कमाने वाली लड़कियों को ठीक से दो वक्त के खाने के भी लाले पड़ने लगे.
डांस बार को फिर से शुरू करवाने के लिए एक लम्बी कानूनी लड़ाई लड़ी गयी. बार बालाओं के पास ना इतना पैसा था ना इतनी जानकारी कि वो अपने हक के लिए कानूनी लड़ाई लड़ सके.
ऐसे में एक शख्स ने शुरू की एक लम्बी कानूनी लड़ाई और अंत में उन्होंने बार बालाओं को जीत दिला कर ही दम लिया.
अब कोर्ट ने डांस बार फिर से खोलने की इज़ाज़त दे दी है. बस इस बार कुछ नए नियम भी लागु किये है जैसे कि बार बालाएं एक विशेष घेरे के अंदर ही नाच सकती है, किसी को उन्हें चुने या नज़दीक जाने की इज़ाज़त नहीं होगी. इसी के साथ जो सबसे बड़ा बदलाव है वो ये है कि हर डांस बार में CCTV कैमरे के जरिये पूरी फुटेज नजदीकी पुलिस थाने में दिखाई देगी.
बार डांसरों की जिन्दगी में फिर से उम्मीद की किरण लाने का काम किया है बार डांसर्स असोसिएशन के अध्यक्ष मंजीत सिंह सेठी ने.
मंजीत ने ही कोर्ट में बार बालाओं के हक में याचिका डाल कर कोर्ट के फैसले पर पुनः गौर करने को कहा था. लम्बे समय तक केस चला और अंत में मंजीत को जीत मिली.
मंजीत सिंह इससे पहले भी कई बार बार बालाओं के हव और उनकी सुरक्षा के लिए लड़ चुके है.
फिरौती के का पैसा ना देने की वजह से माफिया डॉन दाऊद इब्राहीम का खास छोटा शकील मंजीत पर हमला भी करवा चूका है. हमला होने के बाद भी मंजीत किसी से नहीं डरे. आज भी मंजीत अपने दो बॉडीगार्ड के साथ खुद भी बन्दूक लेकर घूमते है.
बार बालाओं के लिए मंजीत सिंह सेठी किसी मसीहा से कम नहीं है.