वैसे तो भगवान् शिव भोले शंकर के नाम से जाने जाते है.
जैसे चाहे पूजा अर्चना भक्ति कार्लो शिव प्रसन्न हो जाते है, फिर भी शिव के पूजन के समय कुछ बातों का विशेष ध्यान रखा चाहिए.
कहने को तो ये सब बातें छोटी छोटी है पर है बड़ी महत्वपूर्ण यदि इनमें भूल हो जाए तो हो सकता है ना सिर्फ आपकी शिव पूजा निष्फल हो जाए बल्कि आप शिव के कोप का भाजन भी बन सकते है.
आइये जानते है वो कौनसी बाते है जिनका ध्यान शिव पूजन के दौरान रखना बहुत ज़रूरी है.
शिव की पूजा अर्चना करने से पहले स्नान करना अतिआवश्यक है.
वैसे तो किसी भी देवी या देवता की पूजा करने से पहले स्नान आवश्यक है लेकिन शिव की पूजा से पहले स्नान करना बहुत ही ज़रूरी है. क्योंकि शिव पूजन में हम शिव का अभिषेक करते है.
यदि अभिषेक करने वाला ही पवित्र नहीं होगा तो उसके द्वारा किया गया अभिषेक नाहक ही जाएगा.
तुलसी की पत्तियों का उपयोग अक्सर पूजा में और मंदिरों में किया जाता है.
लेकिन शिव पूजन में तुलसी का प्रयोग वर्जित माना गया है.
शिव के पूजन के समय केवल बिल्व पत्रों का उपयोग किया जाना चाहिए भूलकर भी तुलसी का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए.
शिव पूजन में बिल्व पत्रों का विशेष महत्व है.
लेकिन भगवान् शंकर को बिल्व पत्र अर्पित करते समय ध्यान रखें कि बिल्व पत्र ताज़ा और हरे होने चाहिए. बासी, कटे फटे या पीले पड़े बिल्व पत्र का पूजा में उपयोग नहीं करना चाहिए.
शिव लिंग का अभिषेक जल या दूध द्वारा किया जाता है.
शिव पूजन में पूरा नारियल तो उपयोग में लिया जा सकता है परंतु नारियल के पानी से शिव का अभिषेक कभी नहीं करना चाहिए.
शिवलिंग का अभिषेक सबसे पहले पंचामृत द्वारा किया जाना चाहिए.
पंचामृत दूध, दही, घी, गंगा जल और शहद का मिश्रण होता है. शिव पर दूध चढ़ाते समय ये बात ध्यान रखे कि दूध कच्चा होना चाहिए अर्थात उसे उबाला ना गया हो. इसके अलावा पैकेट का दूध या बासी दूध भी उपयोग में नहीं लाना चाहिए. जहाँ तक हो सके दूध ठंडा होना चाहिए.
बिना सोचे किसी भी तरह का दूध चढ़ाने से शिव का पूजन बेकार हो सकता है.
शिव पर सफ़ेद फूल चढ़ाने का महत्व है.
कहा जाता है कि शिव को सफ़ेद फूल पसंद है. सफ़ेद फूल चढ़ाते समय ये भी ध्यान रखें कि केवड़े या चंपा के फूल ना हो. कथाओं के अनुसार चम्पा और केवडा फूलों को को शापित माना जाता है.
वैसे तो हम हमेशा पूजा में चढ़ाया गया प्रसाद या फल ग्रहण करते है लेकिन शिव की पूजा में ऐसा नहीं करना चाहिए.
कहा जाता है कि शिव लिंग पर चढ़ाये गए फल, फूल या नैवेध्य ग्रहण करना बुरा होता है.
ऐसा करने से धन और स्वास्थ्य की हानि होती है.
बहुत से लोग अपने घर में शिवलिंग की स्थापना करते है. अगर आपके घर में भी शिवलिंग है तो उसके साथ जल धारा भी अवश्य होनी चाहिए. जल धारा की अनुपस्थिति में शिवलिंग नकारात्मक ऊर्जा प्रवाहित करता है.
ये थी वो कुछ छोटी लेकिन महत्वपूर्ण बातें जिन पर ध्यान ना देने से शिव का पूजन व्यर्थ जा सकता है. अगली बार जब भी शिव का पूजन करें तो इन बातों का ध्यान रखें और अपनी उपासना को सफल बनायें.
मुस्लिम लोगों में एक पुरुष वर्ग ऐसा है जो कि शुरू से ही नरेंद्र मोदी…
अजीत डोभाल को यह खबर थी कि मुस्लिम इलाकों में मस्जिदों से इस तरीके का…
ना सिर्फ पेट्रोल बम लोगों तक पहुंचाएं गए हैं बल्कि लोहे की रॉड और गुलेल,…
करावल नगर में ही 100 से ज्यादा वाहन जले हुए मिल रहे हैं लेकिन अंदर…
March 2020 horoscope: मार्च 2020 की शुरुआत होने वाली है और हर कोई जानना चाहता…
IND vs NZ: भारत और न्यूजीलैंड के बीच में शुरू हुआ दूसरा टेस्ट मैच पहले…