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सड़क मे पैन बेचने वाला जॉनी लीवर कैसे बन गया कॉमेडी लेजेंड

जॉनी लीवर

जॉनी लीवर – जो लोग कहते हैं कि किस्मत बड़ी चीज़ है, शायद वह सही कहते हैं।

क्योंकि किस्मत नहीं होती फिर सड़को पर पैन बेचने वाला जॉन प्रकाश राव उर्फ़ जॉनी लीवर, बॉलीवुड का प्रसिद्ध कॉमेडियन नहीं कहलाता। वह फिल्म इंडस्ट्री के सबसे बड़े अवॉर्ड्स यानि फिल्म फेयर में तीन बार बेस्ट हास्य कलाकार के रूप में नहीं चुना जाता।

मगर जॉनी लीवर की किस्मत ने रंग उस वक्त से दिखाना शुरु किया। जब उन्होंने आगे बढ़ने का सपना देखा।

जॉनी, मुख्यतौर पर आंध्रप्रदेश से ताल्लुक रखते हैं मगर परिवार में आर्थिक तंगी के कारण, जॉनी छोटी उम्र में मुंबई आ गये। यहां पहुंच कर शुरु हुआ एक नया सफ़र जब जॉनी सड़कों पर पैन बेच कर, अपने भोजन का बंदोबस्त करते।

हालांकि वह पैन बेचने के लिए स्टार की मिमिक्री का सहारा लिया करते थे। उनकी इस कला ने आगे जाकर कई स्टेज शो में प्रफॉर्म भी किया। जॉनी ने हैदराबाद से लेकर मुंबई तक कई स्टेज शो किए। जिनमें उन्होंने कई शो जीते भी। जॉनी के लिए यह स्टेज शो, उनकी पहचान बनते गये। इन शो के दौरान एक बार अभिनेता सुनील दत्त ने उनके टैलेंट को पहचाना। इसके बाद जॉनी का बॉलीवुड में शुरु हुआ अलग सफर।

जी हां, सुनील दत्त ने जॉनी को दर्द का रिश्ता फिल्म में मौका दिया। इस फिल्म में जॉनी ने अपने बेस्ट अभिनय से लोगों का दिल जीत लिया था। मगर उन्हें सफलता फिल्म बाजीगर के बाद मिलनी शुरु हुई। जिसके बाद वह लगभग सहायक अभिनेता के तौर पर फिल्मों में काम करने लगे। जॉनी ने अपने 60 साल के करियर में अबतक 350 फिल्में की हैं।

14 अगस्त 1957 को जन्मे जॉनी ने इन ढ़ेरो फिल्मों के लिए कई अवॉर्ड्स भी जीते। और फिल्मफेयर में तीन साल तक बेस्ट हास्य कलाकार अभिनेता के रूप में अपना स्थान बरकरार रखा। जॉनी का जीवन सिर्फ फिल्मों तक ही नहीं रहा बल्कि उन्होंने वर्ष 2007 में टेलीविजन शो में जज के रूप में भी देखा गया था। साथ ही जॉनी ने तमिल की फिल्म में भी काम किया।

जॉनी लीवर की इस सफलता को देखकर लोगों की बात सच महसूस होती है कि किस्मत बड़ी चीज़ है।

मगर किस्मत से अधिक आंध्र प्रदेश से मुंबई आया, वह बालक जो सड़कों में रोजी-रोटी के लिए पैन बेच कर अपना पेट भर रहा था। उसके द्वारा की गयी कड़ी मेहनत व मिमिक्री के प्रति लगन को सलाम ।