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भारत के इस कोने में लड़कियों और हिरण के बीच का ये प्यार देखकर विदेशी भी हैं हैरान

औरतों और हिरण के बीच का प्यार

औरतों और हिरण के बीच का प्यार – आधुनिकता के इस जहाँ में लोगों को अपनों के साथ बिताने का समय नहीं है, लेकिन भारत का ही एक हिस्सा है जहाँ के लोग जानवरों के साथ बड़ी मोहब्बत से रहते हैं.

लोगों को पता भी नहीं चलेगा की ये लोग उन जानवरों को अपने घरों में रखते हैं और उनके बच्चे उनके सतह खेलते हैं.

असल में एक ऐसा समुदाय है भारत में जो हिरण के साथ कुछ ऐसा व्यवहार करता है जिसे देखकर लोग दंग रह जाते हैं. लोगों को यकीन ही नहीं हो पाता की ऐसे भी लोग जानवर के साथ रह सकते हैं.

औरतों और हिरण के बीच का प्यार –

आज जिस हिस्से की बात हम आपसे कर रहे हैं वो है राजस्थान में. राजस्थान का एक समुदाय ऐसा है जो अपने घरों में हिरन को पालता है. उनके अपने बच्चों और हिरन के बच्चों में कोई फर्क नहीं होता. राजस्थान की बिश्नोई समाज की महिलाएं हिरण के बच्चों को बिल्कुल मां की तरह पालती है, यहां तक की उन्हें अपना दूध भी पिलाती है. यहाँ यह करीब 500 सालों से बिश्नोई समाज के लोग जानवरों को अपने बच्चों की तरह पालते आ रहे हैं. ये दुनिया के सामने इंसानियत की मिसाल है.

ऐसा और कहीं भी देखने को नहीं मिलेगा. जिस तरह से राजस्थान के ये बिश्नोई लोग हिरन के साथ प्रेम व्यवहार रखते हैं उस तरह से कोई अपने बच्चों के साथ भी नहीं रह पाता.

बिश्नोई समाज की महिलाएं जानवरों को पालती हैं साथ ही अपने बच्चे की तरह उनकी देखभाल करती हैं. न सिर्फ महिलाएं बल्कि, इस समाज के पुरुष भी लावारिस और अनाथ हो चुके हिरण के बच्चों को अपने घरों में परिवार की तरह पालते हैं. इस समाज की महिलाएं खुद को हिरण के इन बच्चों की मां कहती हैं.

सिर्फ महिलाएं ही नहीं बल्कि इनकी लड़कियां भी इन हिरन के साथ बहुत ही अच्छे से व्यवहार करती हैं.

पहले ये लोग जंगलों में रहते थे. पेड़ और जानवर से इनका काफी लगाव था.

उनका वो लगाव आज भी सबकुछ बदल जाने के बाद भी नहीं बदला है. ये लोग आज भी अपने प्यार को हिरन के प्यार से अलग नहीं कर पाए हैं. बिश्नोई समाज के लोग पर्यावरण की पूजा करते हैं. इस समाज के लोग ज्यादातर जंगल और थार के रेगिस्तान के पास रहते हैं, जिससे यहां के बच्चे जानवरों के बच्चों के साथ खेलते हुए बड़े होते हैं.

यही कारण है कि ये लोग हिरन के साथ भाई बहन वाला प्यार रखते हैं. इनके बच्चे भी कुछ ऐसा ही करते हैं.

आपको सलमान खान वाला मामला तो याद ही होगा.

जिसमे वो काले हिरण को मार दिए था. सलमान खान के खिलाफ मामला दर्ज कराने वाले कोई और नहीं बल्कि यही लोग थे. बता दें कि 1998 में यहां के बिश्नोई समाज ने सलमान के खिलाफ हिरण के शिकार का मामला दर्ज कराया था. इसके बाद जब सलमान जयपुर मैराथन में भी हिस्सा लेने पहुंचे, उस वक्त भी बिश्नोई समाज ने उनका कड़ा विरोध किया था. अब आप उन लोगों का दर्द समझ सकते हैं.

ये है औरतों और हिरण के बीच का प्यार – जानवरों से इस कदर का प्यार करने वाले ही सलमान खान जैसे लोगों पर गुस्सा दिखा सकते हैं. उन लोगों के लिए वो कोई हिरण नहीं था बल्कि उनके परिवार का ही सदस्य था.