ॐ मेडिटेशन – शहरीकरण के इस दौर में बीमार पड़ना बहुत ही मामूली बात है। हर कोई दवाई जरूर खा रहा होता है। लेकिन क्या दवाई खाना इतना जरूरी है? बिना दवाई के क्या बीमारी ठीक नहीं होगी?
ऐसा तो है नहीं। बीमारी तो स्वस्थ रहने से भी ठीक हो जाती है। ठीक है बढ़ते प्रदूषण में बीमार होना आम बात बन गई है। लेकिन इस प्रदूषण का बी तो कोई तोड़ होगा। दरअसल प्रदूषण का असर तभी होता है जब हमारी प्रतिरोधक क्षमता कमजोर हो जाती है। अब प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत करने के लिए क्या किया जाए?
इसका एक ही जवाब है कि अच्छा खाएं और अच्छा पिएं।
स्वस्थ जीवन
बाहर की चीजों को पूरी तरह से ना कह दें। जंक फूड ने आज लोगों की जिंदगी बर्बाद कर दी है। यही बीमारी का मुख्य कारण बना हुआ है। इसलिए बाहर का खाना खाना बिल्कुल भी बंद कर दें। इसी तरह कोल्डड्रिंक भी पीना बंद करे दें। कोल्डड्रिंक पीने से भी स्वास्थ्य खराब होता है।
लेकिन फिर सवाल उठता है कि वे लोग क्यों बीमार पड़ते हैं जो जंक फूड नहीं खाते हैं। कोल्डड्रिंक नहीं पीते हैं। तो ये लोग कैसे बीमार पड़ते हैं। दरअसल इनकी इम्युन सिस्टम कमजोर होती है और ये बाहर के बैक्टीरिया से लड़ नहीं पाते। इसलिए बीमारी पड़ जाते हैं।
तो फिर क्या किया जाए?
ऐसी स्थिति में ॐ मेडिटेशन करें। ॐ मेडिटेशन करने के खूब सारे फायदे हैं।
क्या है ॐ मेडिटेशन ?
जो लोग आर्ट ऑफ लिविंग को फॉलो करते हैं उनके लिए ओम कोई नया शब्द नहीं होगा। कहते हैं ओम के बिना किसी घर की पूजा पूरी नहीं होती है, बिना ओम सृष्टि की कल्पना भी नहीं हो सकती है। ॐ की ध्वनि में ब्रहाम्ड का सार छुपा है। इसलिए ये काफी पावरफुल शब्द माना जाता है।
ऐसे करें ओम मेडिटेशन
इसका जाप सुबह जल्दी उठकर करें। ओम मेडिटेशन किसी शांत जगह में ही करें। पद्मासन में बैठकर, पेट से आवाज निकालते हुए जोर से ओम का उच्चारण करें। ओम को जितना लंबा खींच सकें, खींचें। सांस भर जाने पर रुकें और फिर यही प्रक्रिया दोहराएं। उच्चारण खत्म करने के बाद 2 मिनट के लिए ध्यान लगाएं और फिर उठ जाएं। ये है ऊं मेडिटेशन करने की पूरी क्रिया। इसे रोज करें और स्वस्थ रहें।
नकरात्मकता होती है दूर
रोजाना मेडिटेशन करने से हमारे अंदर से नकारात्मकता दूर होती है और यह हमारे जीवन को सकारात्मक बनाता है। जिससे हम हमेशा अच्छा महसूस करते हैं और दीमाग को खुश रहने और अच्छा रहने के लिए प्रेरित करते हैं। जिससे दिमाग में हैप्पी हार्मोन्स रीलिज होते हैं जो प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत बनाते हैं। ओम के उच्चारण से हमारे अन्दर सकारात्मकता आती है। यह हमारे अन्दर के सारे विषैले तत्वों को दूर करता है।
मानिसक तौर पर शांति
ऊं मेडिटेशन करने से तनाव दूर होता है और दिमाग शांत रहता है। मानिसक रोगियों के लिए ये अचूक उपाय माना जाता है। इसे रोज सुबह पांच बजे करें और अपनी लाइफ को खुशहाल और सुंदर बनायें।
आंखों की रोशनी
इस मेडिटेशन को करने से चेहरे पर कांति और आंखों में अनोखी चमक आती है। शरीर में थकावट नहीं होती है और हमेशा फ्रेश महसूस करते हैं। इसके अलावा ये हमारे पाचन तंत्र को मजबूत करता है जिससे पेट से जुड़ी बीमारियां नहीं होती।
तो आज से ही इन फायदों के लिए रोज सुबह पंद्रह मिनट ॐ मेडिटेशन करें और हेल्दी लाइफ जिएं। बीमारों की लाइफ जीकर फायदा भी क्या है? तो ॐ मेडिटेशन करें और खुश रहें।
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