एक बार फिर मैं ‘बसकर स्वामी ’ आपका स्वागत करता हूँ ND तिवारी इंडिया न्यूज़ पर.
आज की क्रैकिंग न्यूज़ : औरतों में बढती ड्रंक ड्राइविंग , राहुल ने कहा हो रहा वुमन एम्पावरमेंट.
उसके बाद बुद्धिजीवियों की बाइबिल ने बताया IAS ऑफिसर का सच.
अब समाचार विस्तार से
परसों मुंबई में फिर एक उच्चवर्गीय महिला ने आधी रात को शराब पीकर अपनी गाडी ठोक दी. एक खुशनसीब चाय वाला और एक छोटी सी सेंट्रो को ये सौभाग्य प्राप्त हुआ. पुलिस के आने पर उस महिला ने खुद को गाडी में बंद कर लिया. बताइए कितनी भद्र महिला थी वो, गाड़ी ठोकने के बाद शर्मिंदा होकर खुद को गाडी में बंद कर लिया.
जिससे कि कोई चाहकर भी उनको घटनास्थल से बाहर नहीं निकाल सके. पुलिस के आने तक वो अनादर बंद रही ताकि पुलिस को उन्हें गिरफ्तार करने में कोई परेशानी ना हो.
आजकल महिलाओं में ये लेटेस्ट ट्रेंड है , शराब पीकर गाडी चलाने का और फिर ठोक देने का.
जब इस बारे में हमने सील लिंक पर शराब पीकर गाडी से दो लोगों की जान लेने वाली वकील साहिबा से पुछा तो उन्होंने बड़ी सादगी से कहा
“अब तक तो सिर्फ मर्द ही शराब पीकर गाडी ठोकते थे अब जब हम औरतें भी आगे बढ़ रही है और पुरुष से कंधे से कन्धा मिलकर गाड़ियाँ ठोक रही है शराब पीकर तो उसमे इतना बवाल क्यों ?”
और वैसे भी “व्हाई शुड भाई हेव आल द फन” .
जैसे ही इस नए मामले की खबर राहुल गाँधी को पड़ी तो उन्होंने पोगो बंद करके तुरंत प्रतिक्रिया देते हुए कहा: -अब सही मायनों में महिला सशक्तिकरण बोले तो वीमेन एम्पावरमेंट हो रहा है.
जब उन्होंने इस महिला सशक्तिकरण की दर अपने सुपर कंप्यूटर से मापी तो इसकी दर जुपिटर की एस्केप वेलोसिटी के बराबर निकली.
सूत्रों की माने तो दिग्विजय सिंह भारत सरकार से अपील करेंगे की इस महत्वपूर्ण सफलता के लिए राहुल को भारत रत्न दिया जाए. वहीँ अरविन्द केजरीवाल ने तो ये कहा कि जुपिटर की एस्केप वेलोसिटी से महिला सशक्तिकरण बहुत ही क्रांतिकारी सफलता है, इसके लिए उन्हें नोबेल पुरूस्कार देना चाहिए.
जब केजरीवाल से पुछा गया कि किस श्रेणी में नोबेल के हकदार है राहुल तो उन्होंने अपनी मेगसेसे पुरूस्कार को कातर नज़रों से देखकर कहा “सब मिले हुए है जी ”
मैं बसकर गोस्वामी आशा करता हूँ कि राहुल को नोबेल भारत रत्न या हिमानी नवरत्न कुछ तो मिले, जिससे मैं एक बार फिर उसकी बैंड मेरा मतलब इंटरव्यू कर सकूँ.
अब अगली बड़ी खबर के लिए हमारी अपनी बेबी डॉल चरखा हट के पास
दर्शकों आपका स्वागत है और मैं आपको ले चलती हु सीधे हैदराबाद. उस से पहले प्लीज़ खरीदना ना भूले नया आउटलुक. हर सूडो, सेक्युलर, आदर्श लिबरल कुंठित की पहली पसंद.
अब चलते है खबर की ओर .
कट्टर हिन्दू सांसद की करीबी माने जाने वाली एक IAS ऑफिसर की सच्चाई मेरी और मेरी तरह के और लोगों की पसंद आउटलुक मैगज़ीन ने बताई है. और आउटलुक ने IAS को वो सम्मान दिया है , जो उन्हें कोई सरकार या जनता नहीं दे पायी.
(फोटो – आउटलुक के सौजन्य से )
आउटलुक ने उनकी सारी छोटी मोटी उपलब्धियों जैसे की IAS में चौथी रैंक, ईमानदारी, जनता से जुड़ाव जिसके बारे में सब उनकी तारीफ करते है को इग्नोर कर उनकी सच्ची योग्यता उन्हें बताई है.
जी हां आउटलुक ने बताया की IAS स्मिता सबरवाल EYE CANDY अर्थात भूखे पुरुषों का नेत्र भोजन है, इसीलिए उनको इतनी तवज्जो दि जा रही है. सभी सुपर नारीवादियों ने आउटलुक के इस आर्टिकल का दिल खोल कर स्वागत किया है.
जब किसी कट्टर दक्षिणपंथी बेवकूफ ने ये कहा कि ये नारी का अपमान है तो सब के सब बुद्धिजीवी अपने लाल झंडे का डंडा लेकर पिल पड़े.
कितना खतरा है हमें उन लोगों से जो नारियों को eye candy कहने पर बुरा मानते है.
ऐसे लोग रुढ़िवादी होते है.
आज के ज़माने में हमें ज़रूरत है अधिक से अधिक EYE कैंडीज और शराब पीकर लोगों को ठोकने वाली महिलाओं की , तभी तो एम्पावरमेंट आएगा और हम लोग भी मर्द के कंधे से कन्धा मिलाकर चल सकेंगी.
मैं और मेरी तरह “माय चॉइस ” टाइप की सभी महिलाएं आभारी है आउटलुक की जिसने इतनी गहरी सच्चाई से हमें रु ब रु कराया. आशा करते है कि वो आगे भी ऐसा ही करते रहेंगे और आदर्श लिबरल होने का प्रमाण प्रस्तुत करते रहेंगे.
इसी के साथ समाचार समाप्त.
*नोट – ये समाचार हास्य व्यंग्य के ज़रिये समाज , राजनीति और धर्म के जरिये वैमनस्य फ़ैलाने वालों पर चोट है इसे अन्यथा ना लें *