पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव – कभी पूरे राज्य को अपने इशारे पर चलाने वाले एक मुख्यमंत्री की दशा इतनी खराब हो जाएगी कि उसे माली का काम करना पड़ेगा, ये सोचकर भी हैरानी होती है, लेकिन किसी ने सच कहा है कि जैसा बोओगे वैसे ही काटोगे और जो करोगे यहीं भोग कर जाओगे.
इसका मतलब ये हुआ कि हम जो कुछ भी करते हैं उसका फल हमें इसी जन्म में मिल जाता है. कुछ ऐसा ही आजकल हो रहा है बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव के साथ.
लालू मंत्री होने के साथ साथ एक ऐसा काम भी कर गए जिससे वो पशुओं का हक मार गए.
लोग कहते हैं कि इंसानों का हक मारने वाले को नरक में भी जगह नहीं मिलेगी, तो पशुओं का हक मरने वाले को कहाँ जगह मिलेगी. लालू ने चारा घोटाला किया था. रांची की सीबीआई अदालत ने चारा घोटाला मामले में राष्ट्रीय जनता दल सुप्रीमो लालू यादव को दोषी करार दे दिया था. इसके बाद उनको जेल भेज दिया गया था.
दोषी करार दिए गए आरजेडी प्रमुख लालू प्रसाद यादव को साढ़े 3 साल की सजा सुनाई गई है. साथ ही लालू को 5 लाख रुपया जुर्माना भी लगाया गया है.
इतनी कम सज़ा तो लालू के लिए कुछ भी नहीं. करोड़ों का घोटाला करने वाल एके लिए ५ लाख बहुत कम है.
पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव को सज़ा हो गई है और यह भी निश्चित हो गया है कि वो जेल में कौन सा कम करेंगे.
लालू को जेल में माली का काम दिया गया है. लालू वहां के पौधों की देखभाल करेंगे. अब लालू जेल में माली बनकर कमाएंगे. कहीं ऐसा न हो कि लालू वहां भी पौधों का हक़ मार जाएं और उसके बदले का पानी और खाद खुद ही चट कर जाएं.
वैसे यादव परिवार पर इस समय बड़ी गहरी मार पड़ी है. लालू को जेल की सजा जब से सुनाई गई है, उनके परिवार में खलबली मच गई है. इसका कारण ये है कि सबकुछ लालू के इशारे पर ही होता था. उनकी पत्नी और बेटे तो नाम के हैं, करते तो सबकुछ लालू ही थे. उधर लालू के जेल की खबर सुनते ही लालू की इकलौती बहन का निधन हो गया. लालू पर आए इस फैसले से उनकी बड़ी बहन गंगोत्री देवी काफी परेशान थीं. निधन की खबर के बाद पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी, पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव और पूर्व मंत्री तेजप्रताप यादव गंगोत्री देवी के वेटनरी कॉलेज स्थित आवास पर पहुंचे.
उनका अंतिम संस्कार गोपालगंज में होगा. भाई के जेल जाने की खबर से बहन को सदमा लग गया और वो चल बसी.
भाई जेल में है और बहन की मृत्यु हो गई. सच में ये बड़ी दुखद घटना है, लेकिन पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव ने जो किया है उसकी सजा तो उन्हें मिलेगी ही. लालू को साढ़े ३ साल की सजा हुई है. अगर ईमानदारी से लालू सज़ा काटते हैं तो वो अपने परिवार से इतने समय तक दूर रहेंगे.
लेकिन इन नेताओं का कोई भरोसा नहीं. ये अपना दांव-पेंच वहां भी चलाएंगे और हो सकता है कि अपनी सज़ा पहले ही ख़त्म करवा लें. अब ये तो वक्त ही बताएगा कि मंत्री से माली बने पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव जेल में कैसे समय बिताएंगे.