भारत ने हाल ही में अपने मल्टी बैरल रॉकेट लॉन्चर सिस्टम पिनाका के उन्नत संस्करण का सफल परीक्षण किया है.
इसके बाद इसकी मारक क्षमता काफी बढ़ गई है. आपको बता दें कि मल्टी बैरल रॉकेट लॉन्चर सिस्टम पिनाका एक साथ हर 3 सेकेंड बाद एक एक कर 12 राकेट दाग सकता है.
इसकी सबसे बड़ी खायिसत यह है कि इसको भारत के किसी मौहल्लें की सड़क से भी छोड़ा जा सकता है.
यानी अगर इसको अमृतसर के किसी मौहल्ले में ले जाकर खड़ा कर दिया जाए तो ये वहां से करीब 60 किलोमीटर की दूरी पर स्थित पाकिस्तान के लाहौर शहर को तबाह कर सकता है.
दरअसल, मल्टी बैरल रॉकेट लॉन्चर सिस्टम पिनाका टाट्रा ट्रक पर फिट होता है. हालांकि यह ट्रक सामान्य ट्रक से थोड़ा बड़ा होता है लेकिन यह आसानी से न केवल शहर की मौहल्लों की मेन सड़कों पर जा सकता है बल्कि पहाड़ों पर भी चढ़ सकता है.
बताया जाता है कि यदि पिनाका को किसी चौराहे पर खड़ा कर दिया जाए तो अपने स्थान से बिना हिले तीन तरफ मार कर सकता है.
मल्टी बैरल रॉकेट लॉन्चर सिस्टम पिनाका की यही खासियत इसको दुनिया के बाकी हथियारों से अलग करती है. यह पहाड़ी लड़ाई में बहुत कारगर है. आपने कारगिल की लड़ाई मे अक्सर देखा होगा कि युद्ध की जो वीडियों आती थी उसमें एक के बाद एक कई मिसाइल दागते हुए भारतीय सेना नजर आती थी.
ये पिनाका ही था जो रात के समय आसमान में अग्नि रेखा बनाता हुआ दुश्मन पर टूट पड़ता था. लेकिन वहीं पिनाका अब अपने आधुनिक स्वरूप में आ चुका है.
कुछ दिन पहले भारत ने राजस्थान के सीमांत जैसलमेर जिले की पोकरण फील्ड फायरिंग रेन्ज में अपग्रेड पिनाका मार्क-दो मिसाइल (मल्टी बैरल रॉकेट लॉन्चर सिस्टम) का परीक्षण किया गया.
रक्षा विभाग की जानकारी के मुताबिक मल्टी बैरल रॉकेट लॉन्चर सिस्टम पिनाका ने अपने 60 किलोमीटर लम्बे लक्ष्य पर अचूक निशाने साधते हुए उन्हें ध्वस्त किया. आपको बता दें कि इस नए पिनाका मल्टीपर्पस रॉकेट लांचर के सॉफ्टवेयर में कई बदलाव कर उन्हें अपग्रेड किया गया हैं.
पिनाका मिसाइल से 44 सैकण्ड में बारह रॉकेट दागे जा सकते है. यह सौ किलोग्राम तक का वजन ले जा सकती हैं. गौरतलब है कि अब तक पिनाका-एक की रेंज करीब 40 किलोमीटर थी. जोकि बोफोर्स तोप के बराबर थी. लेकिन अब डीआरडीओ ने इसके सॉफ्टवेयर को अपग्रेड करते हुए दूरी 60किलोमीटर तक की नई मिसाइल कम रॉकेट लांचर तैयार की.
इसके अलावा पिनाका मार्क-दो को कई ओर खूबियों से भी लैस किया गया है. अब इसको माईनस 10 डिग्री से लेकर 55 डिग्री के उच्च स्तरीय तापमान पर भी दागा जा सकता हैं.